भूमि तैयार करने की प्रक्रिया के अंत में सभी उर्वरकों का प्रयोग किया जाना चाहिए।

जैव उर्वरक 80 ग्राम प्रति किग्रा बीज की दर से प्रयोग किया जा सकता है।

यदि इनोकुलम उर्वरक का उपयोग किया जाता है तो यूरिया की आवश्यकता नहीं होती है।

बुवाई के तुरंत बाद बेसेलिन शाकनाशी का छिड़काव और 2 मिली बेसेलिन प्रति लीटर पानी में घोलकर सिंचाई करें।

खरपतवारनाशी का छिड़काव बुवाई के तीन दिन के अंदर कर देना चाहिए।

अगर बाद में किया तो फसल को नुकसान हो सकता है।

शाकनाशी जल्दी उगने वाले खरपतवारों को नियंत्रित करेगा

फसल में बाद में निकलने वाले खरपतवारों के प्रबंधन के लिए 2 सप्ताह के बाद मानव निराई आवश्यक है।